
हिंदू-मुस्लिम के नाम पर बंटवारा करा रही कांग्रेस-राजद: चिराग पासवान
केंद्रीय मंत्री और लोक जनशक्ति पार्टी (रामविलास) के अध्यक्ष चिराग पासवान ने कांग्रेस और राष्ट्रीय जनता दल (राजद) पर गंभीर आरोप लगाए हैं। उन्होंने कहा कि ये पार्टियां हिंदू-मुस्लिम के नाम पर समाज को विभाजित करने का काम कर रही हैं और तुष्टीकरण की राजनीति के जरिए धर्म विशेष के लोगों की गलतियों पर पर्दा डाल रही हैं।
चिराग पासवान ने यह बयान एक चुनावी सभा में दिया, जहां उन्होंने विपक्षी दलों पर जमकर हमला बोला। उन्होंने कहा कि कांग्रेस, राजद और समाजवादी पार्टी (सपा) जैसे दल वोट बैंक की राजनीति के लिए देश में सांप्रदायिक तनाव पैदा कर रहे हैं। उन्होंने आरोप लगाया कि ये पार्टियां इतिहास से छेड़छाड़ कर एक खास धर्म के लोगों को खुश करने का प्रयास कर रही हैं, जबकि अन्य समुदायों की भावनाओं को नजरअंदाज कर रही हैं।
तुष्टीकरण की राजनीति पर हमला
चिराग पासवान ने अबू आजमी के हालिया बयान का भी जिक्र किया, जिसमें उन्होंने औरंगज़ेब को लेकर टिप्पणी की थी। उन्होंने कहा, “इतिहास के जानकार जानते हैं कि औरंगज़ेब कैसा शासक था। लेकिन कुछ लोग जानबूझकर ऐसे मुद्दे उठाकर समाज में दरार पैदा करना चाहते हैं। कांग्रेस और राजद जैसी पार्टियां इसी तरह की राजनीति कर रही हैं। ये लोग सांप्रदायिक सौहार्द को नुकसान पहुंचा रहे हैं और अपने राजनीतिक फायदे के लिए समाज को बांटने में लगे हैं।”
उन्होंने आगे कहा कि विपक्षी दलों का उद्देश्य केवल एक विशेष समुदाय को खुश करना और वोट बैंक की राजनीति करना है। पासवान ने कहा, “जब किसी धर्म विशेष के लोग कोई गलती करते हैं, तो इन पार्टियों के नेता उनकी गलतियों पर पर्दा डालने लगते हैं, लेकिन जब वही गलती किसी अन्य समुदाय के व्यक्ति से होती है, तो उसे बढ़ा-चढ़ाकर पेश किया जाता है।”
कांग्रेस पर ‘विरासत टैक्स’ लागू करने का आरोप
चिराग पासवान ने कांग्रेस पर ‘विरासत टैक्स’ (इनहेरिटेंस टैक्स) लागू करने की योजना बनाने का भी आरोप लगाया। उन्होंने कहा कि इस टैक्स के जरिए कांग्रेस गरीब किसानों और मजदूरों की संपत्ति हड़पने की साजिश रच रही है। उन्होंने कहा कि कांग्रेस और राजद की राजनीति 90 के दशक की जातिवाद और सांप्रदायिकता पर आधारित है, जो समाज को आगे ले जाने के बजाय पीछे धकेलने का काम कर रही है।
उन्होंने यह भी कहा कि बिहार में जब उनकी पार्टी की सरकार बनेगी, तो वे ‘बिहार फर्स्ट, बिहारी फर्स्ट’ के नारे के तहत कई योजनाओं को लागू करेंगे। उन्होंने ताड़ी और नीरा को शराब की श्रेणी से हटाने की मांग को भी दोहराया और कहा कि यह परंपरागत रूप से कई लोगों की आजीविका का साधन रहा है।
विपक्षी दलों ने किया पलटवार
चिराग पासवान के इन आरोपों पर कांग्रेस और राजद ने पलटवार किया है। राजद के प्रवक्ता मनोज झा ने कहा, “चिराग पासवान सिर्फ भाजपा की भाषा बोल रहे हैं। जब उनकी खुद की पार्टी बिहार में कमजोर हो रही है, तो वे इस तरह के बयान देकर सुर्खियों में बने रहना चाहते हैं।”
कांग्रेस नेता अजय माकन ने भी पासवान के आरोपों को खारिज करते हुए कहा कि भाजपा और उसके सहयोगी दल खुद ध्रुवीकरण की राजनीति करते हैं और फिर दूसरों पर दोष मढ़ते हैं।
निष्कर्ष
चिराग पासवान के इस बयान से बिहार और राष्ट्रीय राजनीति में हलचल मच गई है। चुनावी माहौल में इस तरह के बयान मतदाताओं को प्रभावित कर सकते हैं। अब यह देखना होगा कि जनता इस पर क्या प्रतिक्रिया देती है और आगामी चुनावों में इसका क्या असर पड़ता है।
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